Friday, December 18, 2009


सफल
+ लता की कहानी = सफलता , असफलता
असफल


बचपन से लेकर जवानी तक सुने हैं किस्से सफलता - असफलता के

सफल होते हैं लोग इंजिनियर डॉक्टर बनकर , दूसरो की नजरो में
लेकिन उसकी नज़रें एक सफलता के बाद बदल लेती है अपना कलेवर,
फिर सामने होती है , नई मंजिल नई चुनौती और नए सफलता के
मायने

कुछ खट्टी यादों में सफलता के घाव व डर नई सफलता की चाहत के
साथ

आखिर लता जो है दोनों के आखिरी हिस्से में जिसे मिलता है दुःख - सुख के
धूप और छाव

तब जाकर फूटती है कोपले जो बड़ी पत्ती बनकर सफल होती है या सूख कर
असफल

असफलता की सुखी पत्ती उर्जा रूपी जल में मिलकर खाद बन जाती है और सींचती है लता के
जीवन को

ताकि सूखे कलियाँ

सफलता - असफलता से आगे है 'सुफलता '

अगर लता में फल आ जाये और वह उपयोगी हो तो सुफलता है

वरना करना पड़ेगा संतोष मनीप्लांट के लता की तरह

बस नाम से .........................

2 comments:

Acchi hai, lata aur safalta dono ki kahani kehti apki ye kavita..
 
Bahut acchi h sir.....jeevan k kai maayne dekhe ja sakte h yaha....
 

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